सीकर रोड सड़क हादसे पर चिकित्सा मंत्री ने व्यक्त की शोक संवेदना—एसएमएस अस्पताल पहुंचकर लिया स्थिति का जायजा—अस्पताल प्रशासन को बेहतर उपचार उपलब्ध करवाने के दिए निर्देश
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—एसएमएस अस्पताल पहुंचकर लिया स्थिति का जायजा
—अस्पताल प्रशासन को बेहतर उपचार उपलब्ध करवाने के दिए निर्देश
जयपुर, 3 नवम्बर। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री श्री गजेन्द्र सिंह खींवसर ने सोमवार को सीकर रोड पर हरमाड़ा क्षेत्र में हुए सड़क हादसे पर गहरा दु:ख व्यक्त किया है। उन्होंने हादसे में दिवंगत हुए व्यक्तियों की आत्मा की शांति एवं उनके परिजनों को यह आघात सहन करने की शक्ति देने के लिए ईश्वर से प्रार्थना की है। साथ ही, हादसे में घायल हुए लोगों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की है।
घटना की जानकारी मिलते ही चिकित्सा मंत्री सवाई मानसिंह अस्पताल पहुंचे और हादसे के मृतकों तथा घायलों के बारे में जिला प्रशासन एवं अस्पताल प्रशासन से पूरी जानकारी ली। उन्होंने अस्पताल प्रशासन को घायलों को त्वरित एवं बेहतर से बेहतर उपचार उपलब्ध करवाने के निर्देश दिए। साथ ही, कांवटिया एवं अन्य अस्पतालों में भर्ती घायलों को भी बेहतर उपचार के लिए अधिकारियों को निर्देशित किया। उन्होंने कहा कि घायलों के उपचार में किसी तरह की कमी नहीं रहे।
इससे पहले घटना की जानकारी मिलते ही चिकित्सा मंत्री ने दूरभाष पर वार्ता कर सवाई मानसिंह अस्पताल एवं कांवटिया अस्पताल प्रशासन को अलर्ट करते हुए घायलों के उपचार के लिए पुख्ता व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने के निर्देश दे दिए थे। उन्होंने अस्पताल प्रशासन को घायलों का जीवन बचाने के लिए उनकी स्थिति पर लगातार नजर बनाए रखने के भी निर्देश दिए हैं।
चिकित्सा मंत्री ने सवाई मानसिंह अस्पताल में हादसे को लेकर जिला प्रशासन एवं अस्पताल प्रशासन के अधिकारियों से विस्तृत चर्चा भी की। इस दौरान खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री श्री सुमित गोदारा, जल संसाधन मंत्री श्री सुरेश रावत, उद्योग राज्यमंत्री श्री के.के. विश्नोई, सांसद श्रीमती मंजू शर्मा, विधायक श्री गोपाल शर्मा, संभागीय आयुक्त श्रीमती पूनम, पुलिस आयुक्त श्री सचिन मित्तल, जिला कलेक्टर श्री जितेन्द्र सोनी, एसएमएस मेडिकल कॉलेज के प्रधानाचार्य डॉ. दीपक माहेश्वरी, अधीक्षक डॉ. मृणाल जोशी, ट्रोमा सेंटर के प्रभारी डॉ. बीएल यादव सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
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जयपुर के हरमाड़ा थाना क्षेत्र में लोहा मंडी रोड पर 3 नवंबर 2025 को हुए भयावह हादसे की प्रारंभिक जांच में मुख्य कारण डंपर के ब्रेक फेल होना बताया जा रहा है। डंपर (RJ-14-GA-XXXX या RJ-14-GP-8724) खाली था और लोहा मंडी पेट्रोल पंप की ओर से रोड नंबर 14 से हाईवे पर चढ़ने की कोशिश कर रहा था। इसी दौरान ब्रेक फेल होने से यह अनियंत्रित हो गया और तेज रफ्तार (करीब 100 किमी/घंटा) में करीब 300-500 मीटर तक 17 से अधिक वाहनों (कार, बाइक, ऑटो आदि) और राहगीरों को रौंदता चला गया।
अन्य संभावित कारण और विवरण:
ड्राइवर का नशे में होना: कई रिपोर्ट्स और प्रत्यक्षदर्शियों (जैसे सर्वाइवर सुरिंदर) ने बताया कि ड्राइवर कल्याण मीणा (वीराटनगर निवासी) शराब के नशे में था। हादसे से करीब 1.5 किमी पहले पेट्रोल पंप के पास एक कार ड्राइवर से उसकी कहासुनी भी हुई थी, जिसके बाद उसने जानबूझकर या गुस्से में तेज रफ्तार बढ़ाई। पुलिस ने ड्राइवर को मौके से पकड़ा और मेडिकल जांच के लिए अस्पताल भेजा, जहां नशे की पुष्टि हुई। राजस्थान के मंत्री गजेंद्र सिंह खीमसर ने भी ड्राइवर के नशे में होने की बात कही।
तेज रफ्तार और ओवरलोडिंग की आशंका: डंपर खाली होने के बावजूद स्पीड बहुत ज्यादा थी, जिससे चेन रिएक्शन हुआ। भारत में सड़क हादसों का 71% कारण ओवरस्पीडिंग है।
सड़क की स्थिति: इलाका संकरा है, भारी वाहनों की आवाजाही ज्यादा और ट्रैफिक घना। स्थानीय लोगों ने भारी वाहनों पर बैन की मांग की। हादसे के बाद अतिक्रमण हटाए गए।
पुलिस जांच जारी है, जिसमें ड्राइवर का मेडिकल टेस्ट, वाहन की तकनीकी जांच और CCTV फुटेज शामिल हैं। यह राजस्थान में 12 घंटे में दूसरा बड़ा हादसा था (जोधपुर के बाद)। सरकार ने मुआवजा घोषित किया है।
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