जयपुर में एक होटल में 'तम्बाकू नियंत्रण में नवाचार की आवश्यकता' पर राज्यस्तरीय मीडिया कार्यशाला में मीडिया बंधुओं को संबोधित किया।
जयपुर राजस्थान
उमेंद्र राजपूत mo 7014997449
Date 28/01/24
तम्बाकू विक्रेता लाइसेंसिंग राजस्थान सरकार को 14000 करोड़ रुपए का राजस्व बढ़ा सकता है
जयपुर (28 जनवरी 2024)- तम्बाकू विक्रेता लाइसेंसिंग के माध्यम से राजस्थान सरकार को कर के रूप में भारी राजस्व मिल सकता है। तंबाकू मुक्त राजस्थान अभियान के समन्वयक राजन चौधरी ने कहा कि वर्तमान में राजस्थान सरकार को तम्बाकू उत्पादों से वार्षिक कर के रूप में 400-500 करोड़ रुपए मिल रहे हैं, जो तम्बाकू विक्रेताओं को लाइसेंस देने के बाद बढ़कर 14,000 करोड़ रुपए प्रतिवर्ष हो जाएगा।
चौधरी ने रविवार को आयोजित जयपुर में एक होटल में 'तम्बाकू नियंत्रण में नवाचार की आवश्यकता' पर राज्यस्तरीय मीडिया कार्यशाला में मीडिया बंधुओं को संबोधित किया। इसे राजस्थान तंबाकू मुक्त एलायंस (राजतोफा) और एसआरकेपीएस के सहयोग से अंतरराष्ट्रीय यूनियन अगेंस्ट ट्यूबरकुलोसिस और लंग डिजीजेस (द यूनियन) के संयुक्त तत्वावधान में किया गया था।
उन्होंने कहा कि तम्बाकू विक्रेताओं के लिए शराब विक्रेताओं की तरह एक लाइसेंसिंग सिस्टम होना चाहिए। शराब से राज्य सरकार को वार्षिक 17,000 करोड़ रुपए का राजस्व प्राप्त हो रहा है। तम्बाकू उत्पादों से सरकार को केवल 400-500 करोड़ रुपए का राजस्व प्रतिवर्ष प्राप्त हो रहा हैं, उन्होंने कहा कि राज्य में तम्बाकू उत्पादों की अधिकतम बिक्री कालाबाजारी के माध्यम से हो रही है । राजस्थान में तम्बाकू उत्पादों की बिक्री लगभग 50,000 करोड़ रुपए प्रतिवर्ष है और सरकार 28% जीएसटी के साथ 14,000 करोड़ रुपए का अतिरिक्त राजस्व प्राप्त कर सकती है।
अभियान के समन्वयक राजन चौधरी ने कहा कि 2009 में राजस्थान म्युनिसिपालिटी एक्ट में विक्रेता लाइसेंसिंग के लिए कानून और नियम हैं। विक्रेता लाइसेंसिंग सीकर में शुरू हो चुका है, जबकि नागौर, झुंझुनू और अलवर में इस पर कार्रवाई हो रही है। तंबाकू विक्रेताओं के लिए जयपुर ग्रेटर नगर निगम और जयपुर हेरिटेज नगर निगम द्वारा गजेट नोटिफिकेशन जारी हो चुका है।
तम्बाकू विक्रेता लाइसेंसिंग से स्थानीय निकायों को राजस्व मिलेगा, नगर निकाय की सीमाओं में तम्बाकू विक्रेताओं की मैपिंग हो सकेगी, सीमित तम्बाकू दुकानों के कारण तम्बाकू उत्पादों का कचरा कम उत्पन्न होगा, युवाओं को तम्बाकू उत्पादों की पहुँच से दूरी बढ़ेगी और कोटपा कानून के प्रभावी क्रियान्वयन की सुनिश्चिता हो पाएगी।
उन्होंने कहा कि हाड़ोती और जयपुर के पान विक्रेता संघ चाहते हैं कि सरकार तम्बाकू विक्रेता लाइसेंसिंग शुरू करे।
राजस्थान कैंसर फाउंडेशन के अध्यक्ष डॉ. राकेश गुप्ता ने 'तम्बाकू मुक्त पीढ़ी' पर मीडिया बंधुओं को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि तम्बाकू विक्रेता लाइसेंसिंग के द्वारा जनवरी 2011 को जन्मे गए बच्चों को 2029 तक तम्बाकू मुक्त पीढ़ी बनाई जा सकती है। वर्तमान में किशोरों के लिए तम्बाकू आसानी से उपलब्ध है। राजस्थान में प्रतिदिन 300 किशोर तम्बाकू उपभोग करना शुरू करते हैं, जो तम्बाकू के आसान उपलब्धता की वजह से है। विक्रेता लाइसेंसिंग के कारण तंबाकू उत्पाद बेचने की सीमित दुकानें होंगी, बच्चों की पहुंच आसानी से नहीं होगी और विक्रेता भी बच्चों को तम्बाकू उत्पाद नहीं बेच पाएंगे।
राजतोफा के अध्यक्ष डॉ. रमेश गांधी ने तम्बाकू उत्पादों के सरोगेट विज्ञापनों पर विचार व्यक्त करते हुए कहा कि आज कल सेलेब्रिटीज मीठी सुपारी, पान मसाला आदि के रूप में इन तम्बाकू उत्पादों का प्रचार-प्रसार कर रहे हैं और उनके प्रशंसक तम्बाकू का उपभोग करने की आदत में पड़ जाते हैं। उन्होंने मीडिया से निरंतर तम्बाकू का विरोध करने वाली मजबूत कहानियाँ प्रकाशित करने की अपील की क्योंकि इससे तम्बाकू का उपभोग कम हो सकता है।
एसआरकेपीएस के वरिष्ठ कार्यक्रम प्रबंधक भूपेश दीक्षित ने मेहमानों का स्वागत करते हुए कार्यशाला के उद्देश्यों पर प्रकाश डाला, वहीं कार्यक्रम अधिकारी राहुल कुमार ने अंत में सभी का आभार व्यक्त किया।
Comments
Post a Comment